देश में राजधानी दिल्ली और मुंबई में मौजूद ब्रिटिश ब्रॉडकास्टिंग कॉरपोरेशन यानी बीबीसी के दफ्तरों में इनकम टैक्स के आज शुरू हुए सर्वे के बाद भारतीय जनता पार्टी और कांग्रेस के नेताओं के बीच जुबानी जंग शुरू हो गई है। आयकर विभाग की टीम ने आज सुबह करीब 11:30 बजे दिल्ली और मुंबई स्थित बीबीसी दफ्तरों पर तलाशी अभियान शुरू किया। इनकम टैक्स का सर्वे जारी है। इनकम टैक्स की टीम के बीबीसी दफ्तरों के पहुंचने के बाद से लगातार सियासी दलों की तरफ से बयानबाजी जारी है। अब इस मामले में बीबीसी ने ट्वीट कर कहा कि इनकम टैक्स अधिकारी इस समय नई दिल्ली और मुंबई में बीबीसी कार्यालयों में मौजूद हैं। हम पूरा सहयोग कर रहे हैं। हम उम्मीद करते हैं कि यह स्थिति जल्द से जल्द सुलझ जाएगी। इनकम टैक्स अधिकारियों की टीम राजधानी नई दिल्ली में केजी मार्ग स्थित उनके कार्यालय में सर्वे के लिए पहुंची। सूत्रों से मिली जानकारी के मुताबिक, मुंबई में भी इनकम टैक्स की टीम ने सर्वे किया। दिल्ली के केजी मार्ग एरिया में एचटी टावर की पांचवीं और छठी मंजिल पर बीबीसी का ऑफिस है। यहां आयकर विभाग की टीम ने रेड की है। इधर, मुंबई के सांताक्रूज इलाके में बीबीसी स्टूडियोज पर भी इनकम टैक्स विभाग की टीम पहुंची है। आईटी अधिकारी कर चोरी की जांच के सिलसिले में तलाशी ले रहे हैं।अधिकारियों ने कहा कि कंपनी के बिजनेस ऑपरेशन्स से जुड़े कागजातों की जांच की जा रही है। आयकर टीम ने बीबीसी से आर्थिक लेन-देन से जुड़ी जानकारी मांगी है। इसके अलावा टीम कुछ लैपटॉप, मोबाइल और डेस्कटॉप का बैकअप ले रही है। बीबीसी दफ्तर पर आयकर विभाग की तलाशी अभियान के बाद कांग्रेस और भाजपा नेताओं के बीच जुबानी जंग छिड़ गई है। कांग्रेस समेत विपक्ष केंद्र सरकार पर निशाना साध रहा है। कांग्रेस महासचिव संचार प्रभारी जयराम रमेश ने कहा, “यहां, हम अडानी मुद्दे पर जेपीसी (संयुक्त संसदीय समिति) की मांग कर रहे हैं, लेकिन सरकार बीबीसी के पीछे पड़ी है। विनाश काले विपरीत बुद्धि।
”तृणमूल कांग्रेस सांसद महुआ मोइत्रा ने सरकार पर तंज कसते हुए कहा, “बीबीसी के दिल्ली कार्यालय में आयकर छापे की रिपोर्ट। वाह वाकई? कितना अप्रत्याशित… इस बीच, अडानी के लिए फरसान सेवा (अडानी को एक गुजराती स्नैक परोसा जाता है) जब वह अध्यक्ष @SEBI_India कार्यालय के साथ चैट के लिए आते हैं।”कांग्रेस के हमलों के बाद भाजपा सांसद राज्यवर्धन सिंह राठौर ने पलटवार किया है। राठौर ने कहा कि ऐसा लगता है अंग्रेजों ने 1947 में भारत छोड़ने के बाद बीबीसी के विघटनकारी एजेंडे को देश में आगे बढ़ाने का काम कांग्रेस को सौंप दिया था। खैर, आपातकाल और प्रेस की आजादी की बात करने वालों को आईना जरूर देखना चाहिए। वहीं भाजपा के राष्ट्रीय प्रवक्ता गौरव भाटिया ने प्रेस कॉन्फ्रेंस को संबोधित करते हुए कहा कि किस तरह पत्रकारिता की आड़ में एक एजेंडा आगे बढ़ाया जाता है, वह मैं आपके सामने रखता हूं। बीबीसी द्वारा एक प्रोग्राम- ‘द अनलीश्ड’ में प्रोग्राम के प्रेजेंटर ने कश्मीर में आतंकी कमांडर को करिश्माई युवा उग्रवादी बता दिया था। यह किस तरह की रिपोर्टिंग है! आप भारत में कार्य करना चाहते हैं और भारत की अखंडता को चोट पहुंचाने का प्रयास करते हैं। इसी तरह से पूरी दुनिया में भारत अपनी संस्कृति-विविधता के लिए जाना जाता है। यहां क्या त्योहार हैं, सबके क्या भाव हैं, वह बिना जाने बीबीसी ने कहा कि होली एक गंदा त्योहार है। इसके कई उदाहरण हैं कि बीबीसी की रिपोर्टिंग कितनी सतही और जहरीली है। कांग्रेस ने जहां इसकी तुलना अघोषित आपातकाल से की है। तो वहीं, भाजपा ने कांग्रेस को आईना देखने की नसीहत दी है। कांग्रेस ने मंगलवार को कहा कि बीबीसी पर आईटी की छापामारी अघोषित आपातकाल है। बता दें कि ब्रिटिश ब्रॉडकास्टिंग कॉर्पोरेशन (बीबीसी) वर्ल्ड सर्विस टेलीविजन ब्रिटिश सरकार की संस्था है। यह 40 भाषाओं में खबरें प्रसारित करता है। ब्रिटेन की संसद ग्रांट के जरिए इसकी फंडिंग करती है। इसका मैनेजमेंट फॉरेन एंड कॉमनवेल्थ ऑफिस के जरिए होता है। यह डिजिटल, कल्चर, मीडिया और स्पोर्ट्स विभाग के तहत काम करती है। बीबीसी को एक रॉयल चार्टर के तहत साल 1927 में शुरू किया गया था।