केदारनाथ विधानसभा क्षेत्र में राजनीतिक हलचल तेज हो गई है। कांग्रेस पार्टी ने एक बार फिर मनोज रावत को इस क्षेत्र से अपना प्रत्याशी घोषित किया है। मनोज रावत, जो 54 वर्ष के हैं और पेशे से एक पूर्व पत्रकार रह चुके हैं। वह 2017 में कांग्रेस के टिकट पर इस क्षेत्र से चुनाव जीतकर विधायक बनने का गौरव हासिल किया था। लेकिन 2022 में हुए विधानसभा चुनाव में उन्हें कड़ी चुनौती का सामना करना पड़ा, जिसमें वे तीसरे स्थान पर रहे थे।
हाल ही में बीजेपी विधायक शैला रानी रावत की मृत्यु के कारण यह सीट खाली हुई है, जिसके चलते उपचुनाव की तैयारियां शुरू हो गई हैं। शैला रानी रावत ने पिछले चुनाव में 20,678 वोट लेकर जीत हासिल की थी। इसके बाद निर्दलीय उम्मीदवार कुलदीप रावत ने 13,134 वोटों के साथ दूसरे स्थान पर रहकर सभी को चौंका दिया था मनोज रावत को तब 12,000 वोट मिले थे।
कांग्रेस ने मनोज रावत को फिर से टिकट देकर उनके अनुभव और स्थानीय जनता के साथ उनके संबंधों को ध्यान में रखा है। पार्टी की रणनीति है कि मनोज रावत के माध्यम से वह 2022 के चुनाव में मिली हार का बदला ले सके। उनके पत्रकारिता के अनुभव ने उन्हें क्षेत्र की समस्याओं और लोगों की जरूरतों को समझने में मदद की है।
मनोज रावत ने अपने प्रत्याशी बनने पर कहा, “मैं अपनी पार्टी और क्षेत्र की जनता के प्रति कृतज्ञता व्यक्त करता हूं। मुझे विश्वास है कि हम मिलकर केदारनाथ के विकास के लिए काम कर सकेंगे।” उन्होंने यह भी कहा कि वह जनता के साथ संवाद बनाए रखते हुए उनकी समस्याओं का समाधान करेंगे।