पिछले महीने 20 जुलाई से शुरू हुए संसद के मानसून सत्र का आज समापन हो गया। पूरा सत्र मणिपुर मुद्दे पर ही पक्ष और विपक्ष के बीच लड़ाई का सियासी अखाड़ा बना रहा। विपक्ष के लाए गए अविश्वास प्रस्ताव पर प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने गुरुवार को लोकसभा में 2 घंटे 13 मिनट का ताबड़तोड़ अंदाज में विपक्ष पर निशाना साधा। पीएम मोदी ने विपक्षी गठबंधन को घमंडिया करार दिया और कहा कि इस गठबंधन की बारात में हर कोई दूल्हा बनना चाहता है। हर कोई प्रधानमंत्री बनना चाहता है लेकिन इनकी नई दुकान पर कुछ ही दिन में ताला लग जाएगा। प्रधानमंत्री के जवाब में आज कांग्रेस की ओर से राहुल गांधी ने राजधानी दिल्ली में प्रेस कॉन्फ्रेंस करते हुए पलटवार किया। संसद सदस्यता बहाल होने के बाद राहुल गांधी की यह पहली प्रेस कॉन्फ्रेंस थी। प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी पर निशाना साधते हुए राहुल ने कहा, ‘कल PM मोदी ने संसद में करीब 2 घंटे 13 मिनट तक बोला। अंत में उन्होंने मणिपुर पर 2 मिनट तक बात की।
इस दौरान राहुल ने कहा कि पीएम मणिपुर को जलाना चाहते हैं और आग को बुझाना नहीं चाहते हैं। उन्होंने कहा कि मणिपुर महीनों से जल रहा है, लोग मारे जा रहे हैं, बलात्कार हो रहे हैं लेकिन प्रधानमंत्री हंस रहे थे, चुटकुले सुना रहे थे। यह उन्हें शोभा नहीं देता। उन्होंने कहा कि पीएम ने मणिपुर पर केवल दो मिनट बोला। भारतीय सेना इस नाटक को 2 दिनों में रोक सकती है लेकिन पीएम मणिपुर को जलाना चाहते हैं और आग को बुझाना नहीं चाहते हैं।’

कांग्रेस सांसद राहुल गांधी ने कहा कि 19 साल के अनुभव में मैंने मणिपुर में जो देखा-सुना, वैसा पहले कभी नहीं देखा। संसद में मैंने कहा था। पीएम और गृह मंत्री ने भारत माता की हत्या की है, मणिपुर में भारत को खत्म कर दिया है। ये खोखले शब्द नहीं हैं। मणिपुर में, जब हमने मैतेई क्षेत्र का दौरा किया, तो हमें स्पष्ट रूप से बताया गया कि अगर हमारे सुरक्षा दस्ते में कोई कुकी है, तो उन्हें यहां नहीं लाया जाना चाहिए क्योंकि वे उसे व्यक्ति को मार देंगे। जब हम कुकी क्षेत्र में गए, तो हमें बताया गया कि हम अगर किसी भी मैतेई व्यक्ति लाएंगे, वे उसे गोली मार देंगे। राहुल ने कहा कि यह एक राज्य नहीं है, दो राज्य हैं। राज्य की हत्या हो गई है और उसका हौसला बढ़ा दिया गया है।
कांग्रेस सांसद ने कहा कि प्रधानमंत्री कम से कम मणिपुर जा सकते थे, समुदायों से बात कर सकते थे और कह सकते थे कि मैं आपका पीएम हूं, आइए बात शुरू करें लेकिन मुझे कोई इरादा नहीं दिखता। सवाल यह नहीं है कि क्या पीएम मोदी 2024 में पीएम बनेंगे, सवाल मणिपुर का है जहां बच्चे, लोग मारे जा रहे हैं।राहुल गांधी ने कहा कि जब कोई पीएम बन जाता है तो वह राजनेता नहीं रह जाता। वह देश की आवाज का प्रतिनिधि बन जाता है. राजनीति को किनारे रख देना चाहिए और पीएम मोदी को एक छोटे राजनेता के तौर पर नहीं बल्कि प्रधानमंत्री के तौर पर बोलना चाहिए। अपने पीछे भारतीय लोगों के वजन के साथ बोलना चाहिए। पीएम को समझ नहीं आ रहा है कि वह वास्तव में क्या हैं। प्रेस कॉन्फ्रेंस में राहुल गांधी के साथ अधीर रंजन चौधरी और मल्लिकार्जुन खड़गे भी मौजूद रहे।