कोरोना एक ऐसी बीमारी है जो देशवासियों को चैन से जीवन जीने नहीं देगी। हर रोज इस महामारी से संक्रमित मरीजों की संख्या तेजी के साथ बढ़ती जा रही है। तेजी के साथ बढ़ रहे आंकड़े अब डराने लगे हैं। वहीं अगर हम बात करें उत्तराखंड की तो इसी महीने 22 अप्रैल से चार धाम यात्रा की शुरुआत भी होने जा रही है। इस बार चार धाम यात्रा में श्रद्धालुओं की भारी भीड़ उमड़ने का अंदेशा जताया गया है। आज 7 अप्रैल है यानी ठीक 15 दिन बाद चार धाम यात्रा की शुरुआत हो जाएगी। अगर हम बात करें इसके 24 घंटे में 6 हजार से अधिक देश भर में कोरोना वायरस के केस सामने आए हैं। यानी अब कोरोना की रफ्तार ऐसे ही बढ़ती गई तो स्थिति और भी विकराल होगी। इसी को ध्यान में रखते हुए केंद्रीय स्वास्थ्य मंत्रालय से लेकर राज्य सरकारें पूरी तरह अलर्ट मोड पर आ चुकी हैं। राजधानी दिल्ली में केंद्रीय स्वास्थ्य मंत्री मनसुख मांडविया ने शुक्रवार को सभी राज्यों और केंद्र शासित प्रदेशों के स्वास्थ्य मंत्रियों के साथ हाईलेवल की समीक्षा बैठक की। इस मीटिंग में मनसुख मांडविया ने कोविड-19 के प्रबंधन के लिए सार्वजनिक स्वास्थ्य तैयारी और राज्यों के साथ कोविड-19 टीकाकरण के प्रोग्रेस को रिव्यू किया।मांडविया ने कहा- राज्यों और केंद्र शासित प्रदेशों के स्वास्थ्य मंत्रियों के साथ समीक्षा बैठक की। इस दौरान कोविड टेस्टिंग और जीनोम सीक्वेंसिंग के साथ कोविड नियमों के पालन का प्रसार बढ़ाने पर बात हुई। हमें सतर्क रहना है और डर नहीं फैलाना है। उन्होंने सभी राज्यों के स्वास्थ्य मंत्रियों को अस्पतालों में मॉक ड्रिल का रिव्यू करने और टेस्टिंग बढ़ाने के लिए कहा है।
वर्तमान में ओमिक्रॉन का सब-वैरिएंट देश में फैल रहा है। मनसुख मांडविया ने कहा कि केंद्र और राज्यों को सहयोगात्मक भावना से काम करने की जरूरत है। ठीक ऐसा ही पिछली उछाल के दौरान भी किया गया था। हालांकि इस बैठक से सामने आने वाली एक खास बात यह है कि अभी भी मास्क को अनिवार्य नहीं किया गया और राज्यों से कहा गया कि वे कोविड टेस्टिंग और जीनोम सीक्वेंसिंग पर ध्यान दें। राज्यों को आपातकालीन हॉटस्पॉट की पहचान करने की सलाह दी गई है। साथ ही कहा गया है कि कोरोना वायरस की टेस्टिंग और टीकाकरण को बढ़ाया जाए और अस्पताल के बुनियादी ढांचे की तैयारी सुनिश्चित की जाए। स्वास्थ्य मंत्री ने राज्यों से कहा कि हमें सतर्क रहना है और अनावश्यक भय नहीं फैलाना है। बैठक में राज्यों को 10 और 11 अप्रैल को सभी स्वास्थ्य केंद्रों पर मॉक ड्रिल करने को कहा गया है। केंद्र की ओर से राज्य के स्वास्थ्य मंत्रियों को कहा गया कि इस मॉक ड्रिल को रिव्यू करने के लिए वे खुद अस्पतालों का दौरा करें। साथ ही राज्यों को सलाह दी गई है कि वे सतर्क रहें और कोविड-19 प्रबंधन के लिए पूरी तैयारी रखें। बता दें कि भारत में पिछले 24 घंटों में कोरोना के 6,050 केस सामने आए हैं। इससे पहले गुरुवार को देश में कोरोना के 5,335 मामले दर्ज किए गए थे। 6 महीने बाद देश में एक दिन में इतने केस मिले थे। देश में पॉजिटिविटी रेट भी बढ़कर 3.39% हो गया है। भारत में कोरोना के बढ़ते हुए केसों को देखते हुए केंद्रीय स्वास्थ्य मंत्री मनसुख मांडविया ने राज्यों और केंद्र शासित प्रदेशों के साथ उच्च स्तरीय बैठक बुलाई। चौंकाने वाली बात ये है कि भारत में मिल रहे कोरोना केसों में 38 फीसदी केस नए वैरिएंट XBB.1.16 के मिल रहे हैं।