इंडोनेशिया के शहर बाली में जी-20 शिखर सम्मेलन का बुधवार को समापन हो गया। 16-17 नवंबर को दो दिवसीय शिखर सम्मेलन में प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी समेत विश्व के तमाम बड़े नेता पहुंचे। शिखर सम्मेलन में देश के लिए सम्मान की बात यह रहेगी अब भारत जी-20 देशों की अध्यक्षता करेगा। अगले महीने 1 दिसंबर से आधिकारिक तौर पर भारत जी-20 की आधिकारिक तौर पर अध्यक्षता ग्रहण करेगा। अगले साल दिल्ली में जी-20 सम्मेलन होगा। इंडोनेशिया के राष्ट्रपति जोको विडोडो ने शिखर सम्मेलन के समापन पर बुधवार को प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी को जी-20 की अध्यक्षता स्थानांतरित की। बाली से स्वदेश लौटने से पहले प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने शिखर समिट में पहुंचे कई राष्ट्राध्यक्षों को यादगार तो फिर भी दिए। अमेरिका के राष्ट्रपति जो बाइडेन को पीएम मोदी ने हिमाचल प्रदेश की एक पेंटिंग दी है जो कांगड़ा की है।

कांगड़ा पेंटिंग आमतौर पर ‘श्रृंगार रस’ या प्राकृतिक पृष्ठभूमि पर प्रेम का चित्रण होता है। ये उत्कृष्ट चित्र हिमाचल प्रदेश के चित्रकारों ने प्राकृतिक रंगों का उपयोग करके बनाया है। प्रधानमंत्री मोदी ने स्पेन के प्रधानमंत्री पेड्रो सांचेज को मंडी और कुल्लू का ‘कनाल ब्रास सेट’ का एक म्यूजिकल इंस्ट्रूमेंट उपहार में दिया है। ये एक पारंपरिक संगीत वाद्ययंत्र है जो अब सजावट की वस्तुओं के रूप में तेजी से उपयोग किया जा रहा है। इसको कुशल धातु शिल्पकारों ने हिमाचल के मंडी और कुल्लू जिले में बनाया है। पीएम मोदी ने
इंडोनेशिया के राष्ट्रपति जोको विडोडो को गुजरात के सूरत का चांदी वाला वाउल और हिमाचल प्रदेश के किन्नौर वाली शॉल भेंट की है। ऐसे ही ब्रिटेन के प्रधानमंत्री ऋषि सुनक को प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने

माता नी पछेड़ी का तोहफा दिया है। ये गुजरात का हस्तनिर्मित कपड़ा है, जिसमें देवी मां की आकृति बनी हुई है। ये नाम गुजराती शब्द माता से लिया गया है जिसका मतलब देवी मां होता है और नी का मतलब संबंधित होता है। पछेड़ी का मतलब पृष्ठभूमि से है। पीएम मोदी ने

इटली की प्रधानमंत्री जॉर्जिया मेलोनी को पाटन पटोला डुपट्टा दिया है। उत्तरी गुजरात के पाटन इलाके में साल्वी परिवार ने इस स्कार्फ को बुना है। पाटन पटोला कपड़ा इतनी अच्छी तरह से तैयार किया गया है कि इसमें सभी रंग खूबसूरती से उबरकर सामने आ रहे हैं। पीएम मोदी ने ऑस्ट्रेलियाई पीएम एंथनी अल्बनीज को ‘पिथौरा’ उपहार में दिया है। ये पिथौरा गुजरात में छोटा उदयपुर के राठवा के कारीगरों ने तैयार किया है। ये कर्मकांडीय आदिवासी लोक कला है। ये पेंटिंग ऑस्ट्रेलिया के स्वदेशी समुदायों की आदिवासी डॉट पेंटिंग से काफी मिलती-जुलती है।
वहीं, प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने फ्रांस के राष्ट्रपति इमैनुएल मैक्रों, सिंगापुर के प्रधानमंत्री ली सीन लूंग और जर्मन चांसलर ओलाफ स्कोल्ज को गुजरात के कच्छ से

‘एगेट बाउल’ उपहार में दिया। वहीं चीन के राष्ट्रपति शी जिनपिंग को प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने कोई उपहार नहीं दिया। भारत और चीन की तनातनी के बीच बाली में पीएम मोदी और जिनपिंग की कुछ देर ही हाय हेलो हुई । जी-20 शिखर सम्मेलन के समापन के बाद पीएम मोदी स्वदेश के लिए रवाना हो गए।

