इस बार 15 अगस्त स्वतंत्रता दिवस पर दिल्ली के लाल किला मैदान में कुछ खास मेहमान दिखाई देंगे। यह ऐसे मेहमान होंगे जो देश के सीमावर्ती राज्यों में रहते हैं। केंद्र सरकार की ओर से इन सभी लोगों को स्वतंत्रता दिवस पर दिल्ली लाने के लिए तैयारी शुरू कर दी गई है। बता दें कि हर साल 15 अगस्त को प्रधानमंत्री लाल किले की प्राचीर से देश को संबोधित करते रहे हैं। इस बार स्वतंत्रता दिवस पर जब प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी भाषण देंगे तो उसके साक्षी चीन सीमा से सटे गांवों के सरपंच भी बनेंगे। 15 अगस्त के जश्न में अरुणाचल प्रदेश, सिक्किम, उत्तराखंड, हिमाचल प्रदेश और लद्दाख में चीन सीमा पर लगभग 662 गांवों के सरपंच विशेष अतिथि होंगे। इस सभी गांव केंद्र के वाइब्रेंट विलेजेज प्रोग्राम (वीवीपी) के तहत आते हैं। भारत-तिब्बत सीमा पुलिस (ITBP) मुख्यालय ने इन जिलों में अपने कर्मियों को संपर्क अधिकारी (Liaison Officers ) नियुक्त करने का निर्देश दिया है। सरपचों को जिला मुख्यालय से दिल्ली लाने और उन्हें वापस ले जाने की जिम्मेदारी इन्ही अधिकारियों की होगी। सभी संपर्क अधिकारी आईटीबीपी से होंगे। बता दें कि वाइब्रेंट विलेज कार्यक्रम की घोषणा 2022 के बजट में की गई थी। इस प्रोग्राम के तहत चीन की सीमा से लगे इलाकों में इन्फ्रास्ट्रक्चर को बेहतर करना है। इस योजना के तहत, अरुणाचल प्रदेश, सिक्किम, उत्तराखंड, हिमाचल प्रदेश और लद्दाख में देश की उत्तरी सीमा से सटे 19 जिलों के 46 ब्लॉकों के करीब 2,967 गांवों की ‘व्यापक विकास’ के लिए पहचान की गई है। योजना के पहले चरण के लिए 662 गांवों का चुनाव हुआ है। इन गांवों में बेहतर इंफ्रास्ट्र्क्चर पर 4,800 करोड़ रुपये के खर्च किए जाएंगे।
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