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आज हम आपसे ऐसे मुद्दे पर चर्चा करने जा रहे हैं जो अक्सर आपने सुना और देखा भी होगा। बात करेंगे माननीयों की। नेता, विधायकों, सांसदों और मंत्री अफसरों से बात करने के दौरान अपना आपा खो देते हैं। कभी-कभी नेताजी अमर्यादित शब्दों का भी प्रयोग कर जाते हैं। जो उनके पद को देखते हुए कदापि उचित नहीं कहा जा सकता है। हम बात कर रहे हैं छठ महापर्व को लेकर राजधानी दिल्ली में भाजपा और आम आदमी पार्टी के बीच हाल के कुछ वर्षों से चली आ रही तकरार की। बिहार और झारखंड में मनाया जाने वाला छठ महापर्व की शुरुआत आज से हुई है। इसी को लेकर कुछ दिनों से दिल्ली में भाजपा और आप नेताओं के बीच यमुना नदी में झाग और साफ-सफाई को लेकर की जुबानी जंग जारी है। इसकी वजह यह है कि दिल्ली के यमुना घाटों पर बिहार और अन्य प्रदेश के लोग छठ महापर्व पर पूजा करने आते हैं। शुक्रवार को पश्चिमी दिल्ली से भारतीय जनता पार्टी के सांसद परवेश साहिब सिंह वर्मा शुक्रवार को यमुना घाट पर पहुंचे और वहां मौजूद दिल्ली सरकार के अधिकारियों पर जमकर बरसे। “उन्होंने घाट पर मौजूद एक अधिकारी से कहा कि ये तेरे को आठ साल में ध्यान आ रहा है, तू इसमें डुबकी लगा, ये केमिकल तेरे सिर पर डाल दूं क्या? यहां पर लोग डुबकी लगाने आएंगे।
इस दौरान वहां काफी लोग भी खड़े हुए थे। बता दें कि बीजेपी सांसद ने दिल्ली जल बोर्ड के अफसर संजय शर्मा से उनके सिर पर केमिकल डालने की बात कही। सांसद का अफसर के प्रति अमर्यादित शब्द लोगों को भी अच्छे नहीं लगे। भाजपा सांसद को अगर अफसरों से कोई शिकायत थी तो वह उसे दिशा निर्देश भी जारी कर सकते थे।
सांसद परवेश साहिब सिंह वर्मा का अफसर से इस लहजे में बात करना भाजपा हाईकमान को भी पसंद नहीं आएगा। बता दें कि सांसद परवेश साहिब सिंह वर्मा दिल्ली के पूर्व मुख्यमंत्री और दिवंगत साहिब सिंह वर्मा के बेटे हैं। वहीं दूसरी ओर दिल्ली के उपराज्यपाल विनय कुमार सक्सेना ने मुख्यमंत्री अरविंद केजरीवाल को यमुना के पानी में झाग को लेकर पत्र भी लिखा है। उपराज्यपाल को निर्देश दिये हैं कि ये दिल्ली सरकार की जिम्मेदारी है कि वह छठ पर घाटों की साफ-सफाई का खास ख्याल रखे। उपराज्यपाल ने इस चिट्ठी में छठ पूजा को लेकर दिल्ली सरकार को दिशा-निर्देश दिए हैं साथ ही छठ के दिन (30 अक्टूबर) दिल्ली में ड्राई-डे (Dry Day) घोषित कर दिया है।