समाजवादी पार्टी के वरिष्ठ नेता और पूर्व कैबिनेट मंत्री आजम खान की मुश्किलें कम होने का नाम नहीं ले रही है। एक बार फिर आजम खान को कोर्ट ने बड़ा झटका दिया है। साल 2019 के लोकसभा चुनाव में स्पीच देने के मामले में आजम को रामपुर की कोर्ट ने दोषी करार दिया है। कोर्ट ने उन्हें दो साल की सजा सुनाई है। साथ ही एक हजार रुपये का जुर्माना भी लगाया गया है। बता दें कि इससे पहले रामपुर की एमपी-एमएलए कोर्ट ने भी आजम को मामले में दोषी करार दिया था। सजा के एलान के बाद आजम खान की विधानसभा सदस्यता चली गई थी। बता दें कि रामपुर के शहजादनगर थाने में आजम खान के खिलाफ नफरती भाषण देने का मुकदमा दर्ज किया गया था। साल 2019 लोकसभा चुनाव के दौरान आजम खान ने विरोधियों पर हमला बोल रहे थे।
इसी दौरान उन्होंने सीएम योगी, रामपुर के तत्कालीन जिला निर्वाचन अधिकारी और निर्वाचन आयोग को निशाना बनाया था। इसका वीडियो वायरल हुआ था, जिसके बाद तत्कालीन वीडियो निगरानी टीम प्रभारी अनिल कुमार चौहान ने सपा नेता के खिलाफ मुकदमा दर्ज कराया था। इससे पहले एमपी-एमएलए को कोर्ट ने आजम खान को हेट स्पीच मामले में तीन साल की सजा सुनाई थी। इस सजा के बाद आजम खान की विधानसभा सदस्यता वापस ले ली गई थी। उपचुनाव में बीजेपी के प्रत्याशी ने जीत दर्ज की थी। बता दें कि 25 मई को हेटस्पीच के एक दूसरे केस में आजम खान को बड़ी राहत मिली थी। 2019 में पीएम पर आपत्तिजनक टिप्पणी करने के मामले में रामपुर की स्पेशल MP/MLA कोर्ट ने आजम को बरी कर दिया था। बता दें कि पिछले दिनों आजम खान वाई श्रेणी की सुरक्षा हटाए जाने को लेकर भी चर्चा में हैं। आजम अब न तो विधायक हैं और न ही सांसद। ऐसे में राज्य स्तरीय सुरक्षा समिति ने उनकी सिक्योरिटी शुक्रवार को वापस ले ली। इसे लेकर उत्तर प्रदेश में सियासी माहौल गर्म है। सपा ने जानबूझकर आजम खान को टारगेट करने का आरोप योगी सरकार पर लगाया है।