यूपी में होने जा रहे विधानसभा चुनाव को लेकर बसपा सुप्रीमो मायावती मंगलवार को आक्रामक अंदाज में दिखाई दीं। हालांकि उन्होंने सड़क पर उतरकर रैली या जनसभा नहीं की, राजधानी लखनऊ में प्रेस कॉन्फ्रेंस के माध्यम से ही भाजपा, सपा और कांग्रेस पर जमकर बरसीं । इसके साथ बसपा प्रमुख ने चंद महीने में होने जा रहे विधानसभा चुनाव को लेकर अपनी की तैयारियों को लेकर भी बताया। उन्होंने कहा कि यूपी में विधानसभा चुनाव के नजदीक आते ही बीजेपी समेत अन्य दलों की तरफ से जनता को लुभाने का नाटक किया जा रहा है। केंद्र की भाजपा सरकार द्वारा घोषणाएं, शिलान्यास और अधूरे काम का उद्घाटन किया जा रहा है। ये सब विधानसभा चुनाव में होने वाली हार को दर्शाता है। मायावती ने कहा कि विधानसभा चुनाव में हार के डर से मोदी सरकार ने पेट्रोल की कीमत थोड़ी कम की है। जनता इसका जवाब देगी। मुफ्त राशन और कई प्रलोभन दिए जा रहे जो चुनाव बाद खत्म हो जाएंगे । बसपा सुप्रीमो मायावती ने कहा कि सपा और भाजपा का अंदर-अंदर प्रयास चल रहा है कि चुनाव को हिंदू मुस्लिम बना दिया जाए। सपा और भाजपा दोनों का चरित्र, जातिवादी और सांप्रदायिक है। उन्होंने कहा कि सपा प्रमुख अखिलेश का 400 सीटों का दावा बचकाना है। इनकी इच्छा के लिए चुनाव आयोग को सीटों की संख्या बढ़ाकर 1000 कर देनी चाहिए। बसपा सुप्रीमो ने सपा और बीजेपी को एक ही सिक्के के दो पहलू बताते हुए कहा कि मेरी लड़ाई दोनो से है। सपा की तरह कांग्रेस ने खूब वादे किए हैं, जिस पर जनता विश्वास नहीं करेगी। बसपा प्रमुख ने कांग्रेस पर तंज करते हुए कहा कि 40 फीसदी टिकट देने की बात करने वाली कांग्रेस विधानसभा और लोकसभा में 35 फीसदी महिला आरक्षण नहीं दे पाई। ये जिन राज्यों में चुनाव हैं, वहीं ऐसी घोषणा कर रही है।कांग्रेस ने काम किया होता तो वो इस तरह सत्ता से बाहर नहीं होती। बसपा चीफ मायावती ने कहा कि कांग्रेस के पास कोई जनाधार नहीं है। मायावती ने साथ ही ये भी कहा कि बीएसपी किसी के साथ चुनावी समझौता नहीं करेगी। हम अपने बूते चुनाव लड़ेंगे। उन्होंने कहा कि हम समाज के हर वर्ग के लोगों को एक साथ लाने के लिए समझौता कर रहे हैं, यह गठबंधन स्थायी है। बसपा सुप्रीमो ने कहा है कि उनका भी सीएम योगी आदित्यनाथ की तरह ही कोई परिवार नहीं है। मायावती ने कहा कि सर्वसमाज ही उनका परिवार है। मेरी पार्टी के कार्यकर्ता मुझे पांचवीं बार मुख्यमंत्री बनाना चाहते हैं।